वनाग्नि की घटना में झुलसी चौथी महिला श्रमिक ने भी उपचार के दौरान तोड़ा दम।
दो दिन पूर्व गुरुवार को सोमेश्वर के स्यूनराकोट गांव में वनाग्नि की भीषण घटना में झुलसी चौथी महिला श्रमिक ने भी उपचार के दौरान दम तोड़ दिया है। महिला को प्राथमिक उपचार के बाद अल्मोड़ा से एसटीएम हल्द्वानी और वहां से गंभीर हालत में ऋषिकेश अस्पताल में भर्ती कराया गया था। जहां उपचार के दौरान उसने भी दम तोड़ दिया। इस हादसे में एक व्यक्ति की मौके पर ही मौत हो गई थी। तीन अन्य ने उपचार के दौरान दम तोड़ दिया है।
सोमेश्वर के स्यूनराकोट के जंगल में गुरुवार की शाम भीषण आग लग गई थी। वनाग्नि की इस घटना में उसी जंगल में लीसा दोहन का कार्य कर रहे नेपाल निवासी दीपक व उसकी पत्नी तारा और ज्ञान बहादुर और उसकी पत्नी पूजा आग की लपटों की चपेट में आने से गंभीर रूप से झुलस गए थे। हादसे में श्रमिक दीपक की मौके पर ही मौत हो गई थी। जबकि ज्ञान बहादुर, तारा और पूजा को अल्मोड़ा के बेस अस्पताल में भर्ती कराया गया था।
जहां उपचार के दौरान शुक्रवार को ज्ञान बहादुर ने दम तोड़ दिया। वहीं गंभीर हालत में हल्द्वानी के एसटीएच अस्पताल रेफर की गई तारा ने अस्पताल पहुंचने से पहले ही दम तोड़ दिया था। चौथी महिला श्रमिक पूजा का एसटीएच हल्द्वानी में उपचार किया गया। लेकिन उसकी हालत में सुधार न होने के कारण उसे शुक्रवार देर शाम हल्द्वानी से ऋषिकेश एम्स अस्पताल में रेफर किया गया था।
लेकिन ऋषिकेश अस्पताल में उपचार के दौरान देर रात पूजा ने भी दम तोड़ दिया है। वनाग्नि की इस घंटना ने दोनों दंपतियों की जान ले ली। चारों श्रमिकों की मौत के बाद अब स्यूनराकोट गांव में मातम छाया हुआ है।